ऐसे दूर करें शरीर में खून की कमी, खून की कमी के 15 बड़े लक्षण जाने
आज हम आपको इसी बारे में बताने जा रहे हैं हमारे देश में ब्लड की कमी बहुत बड़ी समस्या है देश की आधी से ज्यादा जनसँख्या इस समस्या से जूझ रही है और इसकी मुख्य वजह गलत खान पान है. इसके अलावा खून में आयरन यानी लोह तत्व की कमी से भी ब्लड कम होता है. इसका नतीजा यह होता है कि शरीर धीरे धीरे कई बीमारियों से घिरने लगता है. देश के ज्यादातर लोग स्वादिष्ट खाने को तवज्जो देते हैं जिसमें स्वाद तो भरपूर होता है लेकिन इसमें पौष्टिक तत्व बहुत कम मात्रा में होता है जिसकी वजह से अच्छा खाना होते हुए भी यह सेहत में कोई सुधार नहीं लाता है.
khoon ki kami ke lakshan
पिछले पोस्ट में हमने आपको खून की कमी के कुछ मुख्य कारण बताये थे जैसे कि खून में आयरन की कमी, पौष्टिक आहार और पत्तेदार हरी सब्जियों का सेवन नहीं करना, दुर्घटना में काफी खून बह जाना लेकिन इसके उपचार के दौरान खून की कमी को पूर्ति नहीं कर पाना, शरीर को जरुरत के हिसाब से पौष्टिक आहार न मिल पाना, बच्चों को उनकी जरुरत के हिसाब से पर्याप्त पोषण नहीं मिल पाना इसकी वजह से बच्चों को बड़े होने पर कम वजन का सामना करना, TB जैसी बीमारी में रक्त की कमी होना आदि. उपर्युक्त कारणों की वजह से ब्लड की कमी होती है.
पिछले पोस्ट में हमने आपको खून की कमी के कुछ मुख्य कारण बताये थे जैसे कि खून में आयरन की कमी, पौष्टिक आहार और पत्तेदार हरी सब्जियों का सेवन नहीं करना, दुर्घटना में काफी खून बह जाना लेकिन इसके उपचार के दौरान खून की कमी को पूर्ति नहीं कर पाना, शरीर को जरुरत के हिसाब से पौष्टिक आहार न मिल पाना, बच्चों को उनकी जरुरत के हिसाब से पर्याप्त पोषण नहीं मिल पाना इसकी वजह से बच्चों को बड़े होने पर कम वजन का सामना करना, TB जैसी बीमारी में रक्त की कमी होना आदि. उपर्युक्त कारणों की वजह से ब्लड की कमी होती है.
खून की कमी के लक्षण क्या है in Hindi
उपर्युक्त कारणों से आप जान गए होंगे कि शरीर में खून की कमी किस वजह से होती है लेकिन यदि आपके शरीर में भी रक्त की कमी है तो इसे कैसे पहचान पाएंगे.
उपर्युक्त कारणों से आप जान गए होंगे कि शरीर में खून की कमी किस वजह से होती है लेकिन यदि आपके शरीर में भी रक्त की कमी है तो इसे कैसे पहचान पाएंगे.
आपको बता दे कि जैसे ही शरीर में खून यानी ब्लड का स्तर सामान्य से कम हो जाता है तो शरीर इसके लक्षण बताने लगता है यदि इनको पहचान करके आप समय पर इसका उपचार शुरू कर देते हैं तो रक्त की कमी को दूर किया जा सकता है. तो खून की कमी के लक्षण निम्नलिखित है.
- व्यक्ति को थकान महसूस होती है उसका किसी भी काम में मन नहीं लगता है.
- रोगी की त्वचा में पीलापन आने लगता है.
- होंठों एवं नाखूनों का रंग बदल जाता है.
- थोड़ा सा ही चलने पर सांस फूलने लगती है.
- सीने में दर्द होना शुरू हो जाता है.
- आँखों की समस्या होना जैसे नींद नहीं आना और आँखों की रोशनी कम हो जाना.
- अक्सर हाथ पैरों को सुन्न हो जाना.
- अचानक से व्यक्ति का वजन कम हो जाना.
- इसके साथ मन चिंतित होने लगता है.
- तनाव एवं सामान्य से ज्यादा बार सिरदर्द होना.
- दिल की धड़कन का असामान्य हो जाना.
- कमजोरी महसूस करना.
- आये दिन चक्कर आना.
- हाथों और पैरों का ठंडा पड़ जाना.
- बाल झड़ने लगते हैं.
आपको 15 लक्षणों के बारे में बताये हैं यदि इनमें से आपको कोई लक्षण दिखे तो आपको सतर्क हो जाना है. रक्त की कमी एक बड़ी समस्या है यदि व्यक्ति के शरीर में रक्त की कमी हो जाती है तो उसका शरीर बीमारियों से लड़ने में कमजोर पड़ जाता है जिसकी वजह से रोगी को धीरे धीरे कई बीमारियाँ घेरने लगती हैं.
खून की कमी बचपन में होने वाले कैंसर के मरीजों में लाल रक्त कोशिकाएं कम हो जाती हैं, इसे खून की कमी कहा जाता है। कुछ इलाज या कैंसर बोन मैरो (हड्डी के अंदर जहां खून बनता है) को प्रभावित करते हैं, जिसके कारण यह स्थिति उत्पन्न हो सकती है।
लाल रक्त कोशिकाएं, वे कोशिकाएं होती हैं जो फेफड़े से ऑक्सीजन को शरीर के अन्य भागों तक पहुंचाती हैं। खून की कमी वाले लोगों को थकान और कमजोरी महसूस हो सकती है।
खून की कमी रोग की पहचान करना कंप्लीट ब्लड काउंट जांच, खून की कमी रोग की पहचान करने का सबसे आम तरीका है। जांच में 2 तरीकों से लाल रक्त कोशिका को मापा जाता है – हीमोग्लोबिन और हेमाटोक्रिट हीमोग्लोबिन एक प्रोटीन होता है, जो ऑक्सीजन पहुंचाता है। हेमाटोक्रिट, लाल रक्त कोशिकाओं से बनने वाले खून का प्रतिशत होता है।
खून की कमी का इलाज
ये इलाज हो सकते हैं: लाल रक्त कोशिका ट्रांसफ्यूज़न – मरीज को या तो सेंट्रल वेनस एक्सेस डिवाइस या पेरिफ़ेरल आईवी के ज़रिये शिरा में लाल रक्त कोशिकाओं को डाला जाता है। कैंसर के मरीजों में यह इलाज सबसे आम है।
खून की कमी का इलाज
ये इलाज हो सकते हैं: लाल रक्त कोशिका ट्रांसफ्यूज़न – मरीज को या तो सेंट्रल वेनस एक्सेस डिवाइस या पेरिफ़ेरल आईवी के ज़रिये शिरा में लाल रक्त कोशिकाओं को डाला जाता है। कैंसर के मरीजों में यह इलाज सबसे आम है।
दवाइयां – दुर्लभ स्थितियों में, देखभाल प्रदाता ऐसी दवाइयां लेने की सलाह दे सकते हैं, जो लाल रक्त कोशिकाओं का निर्माण करती हैं।
विटामिन और खनिज सप्लिमेंट्स – बहुत कम मामलों में, देखभाल टीम ऐसे सप्लिमेंट्स जैसे आयरन, फ़ोलिक एसिड या विटामिन B12 लेने की सलाह दे सकती है, जिनसे लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण में सहायता मिलती है। लेकिन विटामिन और खनिज की कमी आमतौर पर खून की कमी के कारण नहीं होती है।
खून की कमी की समस्या से निपटने के उपाय
खून की कमी की समस्या से निपटने के लिए मरीज ये कदम उठा सकते हैं:
गतिविधि के साथ विश्राम करें। कुछ शारीरिक गतिविधि के साथ संतुलन बनाए रखने के लिए दिन में थोड़ी-थोड़ी देर के लिए झपकी लेने की कोशिश करें। ध्यान रखें कि बहुत अधिक बेड रेस्ट लोगों को कमजोर महसूस करवा सकता है।
प्रत्येक दिन अनुशंसित समय पर सोएं (झपकी सहित):
शिशु – 12-16 घंटे
1-2 –11-14 घंटे
3-5 – 10-13 घंटे
6-12 – 9-12 घंटे
13-18 वर्ष–8-10 घंटे
स्रोत: अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स और अमेरिकन एकेडमी ऑफ स्लिप मेडिसिन
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